निखिल वखारिया
होला अष्टक शुरू, शुभ कार्यों पर लगा विराम
रायपुर | 06 मार्च 2025
इस वर्ष होली का पर्व शुभ संयोगों के साथ मनाया जाएगा, लेकिन उससे पहले 14 मार्च तक सभी मांगलिक कार्यों पर रोक लग जाएगी। आज से होला अष्टक प्रारंभ हो चुका है, जो कि फाल्गुन शुक्ल अष्टमी से लेकर पूर्णिमा तक प्रभावी रहेगा। इस दौरान शादी-विवाह, गृह प्रवेश, मुंडन और अन्य शुभ कार्य नहीं किए जाते हैं।
होला अष्टक क्यों माना जाता है अशुभ?
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, होला अष्टक के आठ दिनों में ग्रहों की स्थिति अस्थिर होती है, जिससे इस अवधि को शुभ कार्यों के लिए वर्जित माना जाता है। इस दौरान मंगलिक कार्यों के लिए शुभ योग नहीं बनते, जिससे विवाह, गृह प्रवेश, उपनयन संस्कार आदि नहीं किए जाते हैं।
होला अष्टक के प्रत्येक दिन किसी न किसी प्रमुख ग्रह का प्रभाव रहता है:
- पहला दिन – चंद्रमा
- दूसरा दिन – राहु
- तीसरा दिन – शनि
- चौथा दिन – गुरु
- पांचवां दिन – बुध
- छठा दिन – शुक्र
- सातवां दिन – मंगल
- आठवां दिन – सूर्य
इन दिनों में ग्रहों की अनुकूलता नहीं होती, जिसके कारण शुभ कार्यों को रोक दिया जाता है।
14 मार्च के बाद फिर से होंगे शुभ कार्य
ज्योतिषियों के अनुसार, पूर्णिमा के बाद 15 मार्च से मांगलिक कार्यों की शुरुआत होगी। इसके बाद विवाह, गृह प्रवेश, नामकरण आदि शुभ कार्य संपन्न किए जा सकेंगे।
होली का पर्व शुभ संयोगों के बीच मनाया जाएगा
इस साल होली विशेष संयोगों में मनाई जाएगी, जिससे यह और अधिक मंगलकारी होगी। ज्योतिषीय दृष्टि से ग्रहों की स्थिति अनुकूल होगी, जिससे रंगों का यह त्योहार सभी के लिए खुशियों से भरा रहेगा।
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